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सड़क हादसे में घायलों को राहत, 1.5 लाख तक का इलाज मुफ्त-नितिन गडकरी का बड़ा ऐलान
08 Jan 2025
केंद्र सरकार ने सड़क दुर्घटनाओं में घायलों को राहत देने के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाया है। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने घोषणा की है कि सड़क हादसों के पीड़ितों को कैशलैस ट्रीटमेंट की सुविधा मिलेगी। इस योजना के तहत दुर्घटना की सूचना पुलिस के पास पहुंचने के बाद, पीड़ित को सात दिनों तक या अधिकतम डेढ़ लाख रुपये तक का इलाज का खर्च सरकार उठाएगी।
पायलट प्रोजेक्ट के बाद अब राष्ट्रीय स्तर पर लागू
गडकरी ने बताया कि यह योजना पहले कुछ राज्यों में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में लागू की गई थी। परीक्षण के दौरान सामने आई कमियों को सुधारकर अब इसे पूरे देश में लागू किया जा रहा है। यह कदम सड़क हादसों के शिकार लोगों और उनके परिवारों के लिए बड़ी राहत साबित होगा। मंत्री ने यह भी बताया कि हिट एंड रन मामलों में मौत होने पर पीड़ित के परिजनों को सरकार की ओर से 2 लाख रुपये का मुआवजा दिया जाएगा। इस घोषणा के दौरान गडकरी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के परिवहन मंत्रियों, सचिवों और आयुक्तों के दो दिवसीय सम्मेलन के बाद पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे।
सड़क सुरक्षा पर सरकार का फोकस
गडकरी ने कहा कि सड़क सुरक्षा सरकार की प्राथमिकता है। उन्होंने बताया कि स्कूलों के ऑटोरिक्शा और मिनी बसों के लिए कड़े नियम बनाए गए हैं, क्योंकि इनसे जुड़ी दुर्घटनाओं में बड़ी संख्या में मौतें हो रही हैं। गडकरी ने बताया कि साल 2024 में 1.80 लाख मौतें सड़क दुर्घटनाओं में हुईं, जिनमें से 30,000 मौतें हेलमेट न पहनने के कारण हुईं। इनमें 66% मौतें 18-34 आयु वर्ग के लोगों की हैं। उन्होंने कहा कि स्कूलों में एंट्री और एग्जिट पॉइंट की खराब व्यवस्था के कारण 10,000 बच्चों की जान चली गई। सड़क नियमों का उल्लंघन, जैसे ड्राइविंग लाइसेंस न होना और सिग्नल का पालन न करना, भी दुर्घटनाओं का बड़ा कारण है।
ई-रिक्शा और भारी वाहनों के लिए नई योजना
गडकरी ने बताया कि सरकार ई-रिक्शा के लिए सुरक्षा स्टार रेटिंग शुरू करने की योजना बना रही है। साथ ही, भारी वाहनों से होने वाली दुर्घटनाओं को रोकने के लिए आपातकालीन ब्रेकिंग सिस्टम और ड्राइवर को नींद आने पर ऑडियो-अलर्ट मैकेनिज्म लागू किया जाएगा। यह तकनीक ट्रकों और बसों में भी इस्तेमाल की जाएगी।