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बृजभूषण शरण सिंह का तगड़ा बयान, कहा- 'देश को राहुल गांधी की जरूरत, 2025 में हो जाएं गंभीर!'

 02 Jan 2025

गोंडा के कैसरगंज से पूर्व सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने राहुल गांधी और कांग्रेस को लेकर एक बड़ा और विवादास्पद बयान दिया है। उन्होंने कहा कि देश को राहुल गांधी की जरूरत है और इस बार 2025 में कांग्रेस को पूरी गंभीरता से राजनीति में कदम रखना चाहिए। बृजभूषण ने राहुल गांधी और उनकी पार्टी को यह नसीहत दी कि अब उन्हें अपनी बचकानी हरकतों को छोड़कर गंभीर मुद्दों पर ध्यान देना चाहिए। गोंडा में पत्रकारों से बातचीत करते हुए पूर्व सांसद ने कहा, "भगवान करे, कांग्रेस और राहुल गांधी 2025 में गंभीर हो जाएं, क्योंकि देश को उनकी जरूरत है।" 


 पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के स्मारक के विवाद पर बृजभूषण ने कांग्रेस पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने कभी नरसिंह राव का सम्मान नहीं किया, जिनकी सरकार ने देश में ऐतिहासिक आर्थिक सुधार किए थे। बृजभूषण ने तंज कसते हुए कहा, "कांग्रेस ने नरसिंह राव के शव को अपने कार्यालय में नहीं ले जाने दिया था, जो उनके प्रति कांग्रेस का बड़ा अपमान था।" साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि कांग्रेस को अब अपनी बचकानी राजनीति छोड़ देनी चाहिए। उनका यह बयान इस संदर्भ में था जब केंद्र सरकार ने पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के स्मारक बनाने के लिए प्रक्रिया शुरू की है। बृजभूषण ने कांग्रेस को और भी कड़ी सलाह दी। 

उन्होंने कहा कि राहुल गांधी को अब अयोध्या आकर भगवान राम और हनुमान जी के दर्शन करने चाहिए, ताकि उन्हें सद्बुद्धि मिले और वे देश के लिए जरूरी मुद्दों पर लोकसभा में ध्यान केंद्रित करें। बृजभूषण ने यह भी कहा कि विपक्ष और राहुल गांधी का राजनीति में सक्रिय रहना बहुत जरूरी है, लेकिन उन्हें अब ऐसे मुद्दे उठाने चाहिए जिनका सीधा संबंध जनता के हित से हो। स्मारक के लिए प्रक्रिया के बारे में बात करते हुए, सूत्रों ने बताया कि केंद्र सरकार ने पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के स्मारक के लिए स्थल चिह्नित करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। इसके लिए केंद्रीय लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों ने संजय गांधी स्मारक के आसपास के कुछ स्थलों का निरीक्षण किया है और संभावित स्थानों की पहचान की है। 

सरकार ने अब तक तीन या चार संभावित स्थानों पर चर्चा की है, लेकिन कोई भी स्थल अभी तक अंतिम रूप से तय नहीं किया गया है। सूत्रों के अनुसार, सरकार इस मामले में पूर्व प्रधानमंत्री के परिवार से परामर्श करेगी और उसी के आधार पर अंतिम निर्णय लिया जाएगा। इसके अलावा, सरकार ने स्मारक के लिए भूमि आवंटन से पहले एक न्यास का गठन करने का भी निर्णय लिया है। इस प्रक्रिया में पारदर्शिता बनाए रखने के लिए सरकार ने पूर्व प्रधानमंत्री के परिवार को पहले ही इसके बारे में अवगत करा दिया है।