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ओड़िशा: कथित रूप से ‘गौमांस पकाने’ की शिक़ायत पर सात छात्रों को छात्रावास निकाला

 16 Sep 2024

ओड़िशा के एक सरकारी इंजीनियरिंग कॉलेज में कथित  रूप से ‘गौमांस पकाने’ की शिक़ायत पर सात छात्रों को छात्रावास से निकाल दिया गया है। छात्रावास में रहने वाले अन्य छात्रों की तरफ़ से की गई शिक़ायत के आधार पर यह कार्रवाई की गयी है। इसके अलावा एक छात्र पर 2,000 रूपये का ज़ुर्माना भी लगाया गया है। यह वाक़या ओडिशा के बहरामपुर में स्थित परला महाराजा इंजीनियरिंग कॉलेज का है। बजरंग दल और विश्व हिंदू परिषद के कार्यकर्ताओं द्वारा पुलिस में अलग-अलग शिक़ायत दर्ज़ कराए जाने के बाद यह मुद्दा विवाद में बदल गया। ख़बरों के अनुसार, 11 सितंबर को कथित तौर पर छात्रों ने गौमांस पकाया और खाया है। इस घटना को लेकर कॉलेज परिसर में तनाव का माहौल बना हुआ है। घटना को देखते हुए कॉलेज के बाहर भारी संख्या में पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई है।


कॉलेज के डीन की ओर से एक अधिसूचना जारी कर सूचना दी गयी है कि हॉस्टल के छात्रों को “प्रतिबंधित गतिविधियों” में शामिल होने के कारण निष्कासित कर दिया गया है। इसके साथ ही अधिसूचना में कहा गया कि छात्रों की ओर से किया गया यह काम “हॉल ऑफ रेजिडेंस के नियमों और आचार संहिता” का उल्लंघन करता है। इस मामले को लेकर बजरंग दल और विश्व हिंदू परिषद ने छात्रावास का दौरा किया। इसके साथ ही कॉलेज के प्रिंसिपल से मिलकर छात्रों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की मांग की है। डीन को की गई शिक़ायत में कहा गया है कि कॉलेज में पढ़ने वाले सभी छात्रों की भावनाओं का सम्मान किया जाना चाहिए।


अधिसूचना में नियम साफ़ नहीं


डीन की तरफ़ से जो आधिकारिक अधिसूचना जारी की गयी है, उसमें नियमों को लेकर कोई ख़ास जानकारी नहीं दी गयी है, चूँकि बस मामला गौमांस के खाने का सामने आया है, इसलिए सिर्फ उसी के प्रतिबंध के बारे जिक्र किया गया है। डीन की तरफ़ से आधिकारिक तौर पर नियमों को लेकर कोई टिप्पणी भी नहीं की गयी है। एक अन्य शिक़ायत में कहा गया है, “हम सभी छात्रों के मूल्यों और विश्वासों का सम्मान करने के महत्व को समझते हैं. इस घटना (कथित तौर पर गोमांस पकाने की घटना) ने अशांति और असुविधा पैदा की है, जिस से छात्रावास में तनावपूर्ण माहौल पैदा हो गया है। मैं विनम्रतापूर्वक अनुरोध करता हूं कि इस घटना में शामिल छात्रों के खिलाफ सख़्त कार्रवाई की जाए।”


ओड़िशा में गौहत्या अधिनियम में संशोधन


इससे पहले ओड़िशा के मुख्यमंत्री मोहन माँझी ने शुक्रवार (13 अप्रैल) को मतस्य पालन, पशुपालन और डेयरी मंत्रालय द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में भाग लेते हुए ओडिशा गोहत्या रोकथाम अधिनियम, 1960 में संशोधन करने की बात कही। यह अधिनियम राज्य में गायों की हत्या पर रोक लगाता है। अधिनियम में राज्य सरकार गोहत्या और उससे जुड़े अपराधों के लिए सख़्त क़ानून लाने की बात कह रही है।